विधायक हुए बैरी कंफ्यूज, कहा एलएनटी मैं नहीं चला रहा था

samwadbundelkhand.com | Updated : 20/06/20 06:32 AM

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Jhansi

झांसी, मोंठ नगर पालिका क्षेत्र में तालाब की खुदाई को लेकर क्षेत्रीय विधायक अब बैरी कंफ्यूज हो गए हैं, एक तरफ नगर पंचायत विधायक महोदय से वर्क ऑर्डर की कॉपी मांग रहा है, तो दूसरी तरफ झांसी से गई प्रशासनिक टीम ने खुदाई कार्य रुकवा दिया है, अब विधायक जी प्रेस कॉन्फ्रेंस में पत्रकारों के जवाब देने से कतरा रहे हैं, विधायक जवाहर लाल राजपूत कह रहे हैं कि एलएनटी मैं नहीं चला रहा था, गौरतलब है कि 3 दिन पहले विधायक ने विधिवत भूमि पूजन कर तालाब की खुदाई का काम शुरू होने के कुछ ही घंटे बाद नगर पंचायत मोंठ के अधिशासी अधिकारी ने विधायक को पत्र जारी का पूंछा कि यह खुदाई किसके आदेश पर कराई जा रही है। विधायक पर लगे गंभीर आरोप मोंठ के अखाड़ापुरा में पटे हुए तालाब का उसका मूल स्वरूप देने के लिए नगर पंचायत की ओर से एक करोड़ से ज्यादा धनराशि की कार्य योजना तैयार की गई, सरकारी पैसा स्वीकृत हो पाता उससे पहले ही विधायक जवाहर लाल तालाब की भूमि पर पहुंच गए, उनके साथ जेसीबी व एलएनटी मशीन भी थी, उन्होंने विधिवत तालाब की भूमि पर पूजा-अर्चना की और तालाब की खुदाई का काम शुरू करा दिया, मामले की जानकारी उस अग्रवाल फैमिली को मिली जो उस पर अपना मालिकाना हक लंबे वक्त से जता रहा है, आनन-फानन में अग्रवाल फैमिली ने कोर्ट का सहारा लिया, रुकवा दिया गया खुदाई कार्य विधायक जवाहर सिंह राजपूत ने पहले कहा कि मोठ कस्बे में जिस तालाब की खुदाई हो रही है उसका भी इतिहास सौ साल पुराना है, ये तालाब पक्का सीमेंटेड बना हुआ है, पिछली सरकारों ने अपने स्वार्थ के कारण दबंग और प्रभावशाली लोगों ने बंद करा दिया था और दुकानों, माॅल का निर्माण कराकर अपने काम के लिये प्रयोग करना चाहते थे। वहीं योगी जी की सरकार लगातार खलियान, बंजर, भूमि तालाब हो चाहे वो कस्बे की हो या गांव सभा की हो सरकार का प्रयास है कि गांव सभा पर सरकार की संपत्ति वह सरकार के कब्जे में रहेगी, किसी निजी स्वार्थ के हाथों में नहीं रहेगी, सरकार ने निर्णय लिया है कि जहां पर कब्जे हैं उनको तत्काल हटाए जाएं। एक एनजीओ के माध्यम से इस तालाब की खुदाई करवाई जा रही है, जिससे कि आने वाले समय में तालाब पर वाटर पार्क और सुंदरीकरण कराया जा सके, जवाहर सिंह राजपूत ने शनिवार को प्रेस कांफ्रेंस में बताया कि तालाब खुदाई से आसपास का वाटर लेवल ठीक हो जाएगा जो भी इसमें खर्च आएगा 20 - 25 लाख रुपए, उसे विधायक निधि और जन सहयोग से पूरा किया जाएगा, विधायक जी से जब पूछा गया कि नगर पंचायत की जमीन पर विधायक निधि से कार्य किस आधार पर कराया जा रहा था, जन सहयोग के माध्यम से आप ने कितना पैसा इकट्ठा कर लिया है तो वह माकूल जवाब नहीं दे पाए, नगर पंचायत को नहीं है जानकारी इस मामले में नगर पंचायत मोंठ के अधिशासी अधिकारी श्याम करन ने बताया कि तालाब का गहरी करण के लिये डीपीआर तैयार कर एसडीएम को भेजी गई थी। बजट मिलते ही काम शुरु किया जाना था, डीपीआर एक करोड़ 75 लाख की थी, जिसे रिवाइज किए जाने का काम चल रहा था, ऐसे में विधायक जवाहर राजपूत तालाब की खुदाई का काम किस आधार पर शुरू करा दिया, इस बारे में विभाग को कोई जानकारी नहीं है, आखिर इतनी जल्दबाजी क्यों शनिवार को विधायक जवाहर ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा की खुदाई कार्य 20 - 25 लाख रुपए में होना था, जबकि नगर पंचायत 1 करोड़ 75 लाख की डीपीआर बना रहा है, 20 - 25 लाख और एक करोड़ 75 लाख में अंतर बहुत ज्यादा होता है, अब विधायक जी इस काम को कैसे पूरा करवाने वाले थे या डीपीआर गलत क्यों बनाया गया था, जमीन पर मालिकाना हक वर्तमान में किसका है, न्यायालय को इसमें दखल क्यों जाना पड़ा, ये सारे विषय जांच के है, लेकिन मौठ की जनता यह मामला देखकर असमंजस में है कि आखिरकार हो क्या रहा है विधायक जी इतने कंफ्यूज कैसे हो गए, इसके अलावा डेढ़ सौ साल पहले किस कंपनी के सीमेंट से तालाब को सीमेंटेड किया गया था,



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